“रामनगर: बाघ के आतंक से बचाव के लिए लोगों ने कॉर्बेट प्रशासन का किया घिराव, सुरक्षा में सुधार की मांग”
रोशनी पांडे – प्रधान संपादक
रामनगर में बाघ के आतंक से निजात दिलाने के लिए आज कानिया और उसके आसपास के दर्जनों गांव से लोगो ने अपनी सुरक्षा की मांग करते हुए कॉर्बेट प्रशासन का किया घिराव। रामनगर में कॉर्बेट टाइगर रिजर्व से सटे गावो में आजकल बाघ का आतंक छाया हुया हे जिसको लेकर ग्रामीण परेशान हे उसी को लेकर आज जंगली जानवरों के आतंक से निजात दिलाने के लिए दर्जनों ग्रामीणों ने घास मंडी से कॉर्बेट टाइगर रिजर्व के कार्यालय तक जुलूस निकला और कॉर्बेट कार्यालय पर धरना प्रदर्शन किया,
और कॉर्बेट कार्यालय पर जोरदार नारेबाजी कर एक सभा करी। सभा का संचालन करते हुए किसान संघर्ष समिति के संयोजक ललित उप्रेती ने कहा कि जंगली जानवरों का आतंक लगातार बढ़ता जा रहा है खासकर बाघ और तेंदुए इलाके में इतने घूम रहे हैं की हर गांव के अंदर दो-तीन बाघ और दो-तीन तेंदुए दिखाई दे रहे हैं जिससे गांव में दहशत का माहौल बना हुआ है।
हालांकि कॉर्बेट प्रशासन का कहना है कि कल दो बाघों का रेस्क्यू कर लिया है। लेकिन ग्रामीणों का कहना है कि वहां पर कई और बाघ घूम रहे हैं । राज्य आंदोलनकारी प्रभात ध्यानी ने कहा कि कॉर्बेट प्रशासन अपनी भूमिका सही तरीके से नहीं निभा रहा है वह ग्रामीणों के बीच में संवाद नहीं कर पा रहा है
जिससे गांव के लोगों के अंदर असुरक्षा का भाव पैदा हो रहा है वही कॉर्बेट टाइगर रिजर्व के निदेशक धीरज पाण्डेय ने बताया की दो टाइगर को रेस्क्यू कर लिया है और हमारी टीम लगातार गस्त कर रही है। जल्द ही ग्रामीणों को जगली जानवरों के आतंक से निजाद दिलाई जाएगी।
आज के प्रदर्शन में रामनगर के अनेक सामाजिक संगठन और जन संगठनों में भी अपने हिस्सेदारी करी। वक्ताओं में संजय मेहता, ललिता रावत, पूजा जोशी, सुमित लोहनी, आनंद सिंह नेगी रहे। रोहित रोहिल्ला इंकलाबी मजदूर केंद्र से, महिला एकता केंद्र से तुलसी छिंमवाल, समाजवादी लोकमंच से मनीष कुमार, उत्तराखंड जन अधिकार संगठन से सोबन